कोलकाता टेस्ट में साउथ अफ्रीका के हाथों सिर्फ ढाई दिन में हारने के बाद टीम इंडिया के सामने सीरीज बचाने की चुनौती है. गुवाहाटी में सीरीज के दूसरे टेस्ट में जीत के साथ उसके पास सीरीज हार के दाग से बचने का मौका है. मगर पहली बार टेस्ट क्रिकेट का गवाह बन रहे गुवाहाटी के बरसापारा क्रिकेट स्टेडियम में शुरुआती 2 दिन के खेल में ही साउथ अफ्रीका ने टीम इंडिया को बैकफुट पर धकेल दिया. अब टीम इंडिया के स्टार स्पिनर कुलदीप यादव ने इस स्टेडियम की पिच को लेकर जो कहा है, उससे टीम इंडिया की जीत की आस कम होती दिख रही है.
रविवार 23 नवंबर को गुवाहाटी टेस्ट मैच का दूसरा दिन था और दिन का खेल खत्म होने से करीब 40 मिनट पहले ही साउथ अफ्रीका की पहली पारी खत्म हुई. लगभग पूरे 2 दिन तक बैटिंग करने वाली साउथ अफ्रीकी टीम ने बिना किसी परेशानी के क्रीज पर टिककर 489 रन बनाए. स्थिति ये रही कि सातवें नंबर के बल्लेबाज सेन्युरन मुथुसामी ने शानदार शतक लगाया, जबकि नौवें नंबर पर आए मार्को यानसन ने भी 93 रन की धमाकेदार पारी खेली और टीम को यहां तक पहुंचाया.
इस तरह गुवाहाटी की पिच कोलकाता में खेले गए पहले टेस्ट मैच के एकदम उलट साबित हुई. ईडन गार्डन्स में जहां दो दिन के अंदर मैच की तीसरी पारी आधी से ज्यादा खत्म हो गई थी, वहीं यहां सिर्फ एक ही इनिंग खेली जा सकी. दिन का खेल खत्म होने के बाद स्टार स्पिनर कुलदीप यादव ने इस पिच को लेकर ऐसी बात कही, जो भारतीय टीम के लिए अच्छी खबर नहीं है. कुलदीप ने इसे एकदम सड़क बता दिया, जिसमें गेंदबाजों के लिए कुछ नहीं था. उन्होंने कहा, “कोलकाता का विकेट अलग था. ये (गुवाहाटी) तो बिल्कुल रोड था. इसलिए ये चुनौतीपूर्ण है और यही कारण है कि इसे टेस्ट क्रिकेट कहते हैं.”
कुलदीप ने आगे कहा, “हर बार दबदबा जरूरी नहीं है बल्कि आप कैसे वापसी करते हैं ये भी अहम होता है. ये गेंदबाजों के लिए एक मुश्किल विकेट था क्योंकि मुझे ऐसा नहीं लगा कि इसमें ज्यादा मदद है. यहां तक कि तेज गेंदबाजों के लिए भी इसमें ज्यादा मदद नहीं थी लेकिन ये टेस्ट क्रिकेट है और आपको इसे इंजॉय करना चाहिए, सीखना चाहिए.”
साउथ अफ्रीकी पारी में कुलदीप ही टीम इंडिया के स्टार बॉलर थे, जिन्होंने सबसे ज्यादा 4 विकेट लिए. मगर उन्होंने जो सच्चाई बयान की, उससे भारतीय टीम को जीत की उम्मीद नहीं दिखती. बात ऐसी है कि दूसरे दिन भी पिच में किसी तरह के ऐसे संकेत नहीं मिले कि ये कहीं से टूट रही है और गेंदबाजों को मदद मिलेगी. तीसरे दिन भी यही स्थिति बनी रहेगी. ऐसे में टीम इंडिया को साउथ अफ्रीका से आगे निकलने के लिए कम से कम चौथे दिन तक बल्लेबाजी करनी होगी, ताकि वो बड़ा स्कोर बना सके.
मगर जिस तरह का बर्ताव इस पिच का रहा है, उसे देखकर ये नहीं लगता कि मैच के आखिरी दिन या तीसरी पारी में भी बल्लेबाजों को किसी तरह की परेशानी होगी. अगर ऐसा होता है तो इस मैच में टीम इंडिया की जीत की संभावनाएं लगातार कम होती रहेंगी. इसमें ये पहलू भी ध्यान रखना जरूरी है कि इस टेस्ट के दोनों दिन खराब रोशनी के कारण कई ओवर का खेल नहीं हो पाया और दो दिन में करीब 20 ओवर का नुकसान हुआ है. ये स्थिति आगे भी बनी रहेगी और ऐसे में मैच के ड्रॉ होने की संभावना बढ़ जाएगी और इससे टीम इंडिया सीरीज हार जाएगी.