भारतीय क्रिकेट टीम के तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी को ऑस्ट्रेलिया दौरे के लिए न चुने जाने का मुद्दा लगातार सुर्खियों में बना रहा. फिटनेस के कारण इंग्लैंड दौरे पर नहीं चुने गए शमी की ऑस्ट्रेलिया दौरे पर वनडे सीरीज के लिए भी अनदेखी हुई थी, जिस पर काफी सवाल उठे थे. यहां तक कि खुद शमी ने मीडिया में अपने बयान से सनसनी फैला दी थी कि वो सेलेक्शन के लिए फिट थे, जबकि मुख्य चयनकर्ता अजीत अगरकर ने भी खुलेआम कहा था कि उनकी फिटनेस सेलेक्शन लायक नहीं थी. मीडिया में खुलेआम ऐसी बयानबाजी के बाद अब BCCI ने एक बड़ा कदम उठाया. बोर्ड की सेलेक्शन कमेटी के एक सदस्य ने सीधे शमी से मुलाकात की और सेलेक्शन के मुद्दे पर लंबी चर्चा की.
ऑस्ट्रेलिया दौरे पर नहीं चुने गए स्टार पेसर शमी इन दिनों बंगाल की ओर से रणजी ट्रॉफी में हिस्सा ले रहे हैं. टूर्नामेंट के पहले मैच में ही शमी ने अपनी बॉलिंग का कहर बरपाया था और दूसरे मैच की पहली पारी में भी उनका जलवा दिखा. इस बार उनकी गेंदबाजी का गवाह बनने के लिए सेलेक्शन कमेटी के नए सदस्य और पूर्व तेज गेंदबाज रुद्र प्रताप सिंह भी मौजूद थे. स्पोर्ट्सकीड़ा की एक रिपोर्ट के मुताबिक, मैच में दूसरे दिन का खेल खत्म होने के बाद आरपी सिंह ने खास तौर पर शमी से मुलाकात की, जहां दोनों के बीच काफी देर तक बातचीत होती रही.
हालांकि, दोनों के बीच क्या चर्चा हुई, क्या शमी ने कोई शिकायत की या फिर आरपी सिंह ने उनके बयानों पर आपत्ति जताई, ये फिलहाल साफ नहीं है लेकिन जिस तरह अचानक मीडिया में खुलकर उछले बयानों ने भारतीय क्रिकेट में हलचल मचाई, उससे ये अंदाजा लगाना मुश्किल नहीं है कि इस मुलाकात में हालिया घटनाक्रम की बड़ी भूमिका है. हालांकि, सेलेक्टर्स अक्सर रणजी ट्रॉफी के मैच देखने अलग-अलग वेन्यू पर जाते रहते हैं और खास तौर पर उन मुकाबलों को देखते हैं, जिनमें टीम इंडिया का कोई खिलाड़ी खेल रहा हो. मगर शमी और अगरकर की जुबानी जंग के कारण ये चर्चा ज्यादा अहम हो जाती है.
शमी के प्रदर्शन की बात करें तो नए रणजी ट्रॉफी सीजन के पहले मैच में शमी ने उत्तराखंड के खिलाफ 7 विकेट लिए थे और प्लेयर ऑफ द मैच बने थे. इस दौरान ही शमी ने कहा था कि अगर वो 4 दिन का क्रिकेट खेलने के लिए फिट हैं तो वनडे क्रिकेट भी खेल सकते हैं. शमी ने साफ कहा था कि उनका काम प्रदर्शन करना है, न कि अपनी फिटनेस का अपडेट देना. इसके जवाब में एक इवेंट में अगरकर ने कहा था कि वो शमी को पिछले साल ऑस्ट्रेलिया भी भेजना चाहते थे और इस साल इंग्लैंड सीरीज में भी रखना चाहते थे लेकिन उनकी फिटनेस उतनी नहीं थी, जिसकी जरूरत थी. इस बयान के बाद अब दूसरे मैच में भी शमी ने बॉलिंग से कमाल किया और गुजरात के खिलाफ पहली पारी में 3 विकेट लिए.